CTET Exam परीक्षा नियमों में बदलाव

CTET Exam Rules केंद्रीय शिक्षक पात्रता परीक्षा का राष्ट्रीय अध्यापक शिक्षा परिषद द्वारा निर्धारित दिशा निर्देशों के अनुसार करवाया जाता है यह परीक्षा भारत में प्राथमिक और उच्च प्राथमिक स्तर के शिक्षकों के लिए केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड द्वारा करवाई जाती हैं।

CTET Exam Rules

सीबीएससी द्वारा इस परीक्षा का आयोजन एक वर्ष में दो बार करवाया जाता है जैसे अधिक प्रभावी और पारदर्शिता बनाई जा सके एवं वर्तमान में सीटीईटी परीक्षा के नियमों में कुछ बदलाव किए गए हैं जिसका प्रभाव उम्मीदवारों पर सीधा पड़ेगा।

सीटीईटी परीक्षा नियम में बदलाव

1. परीक्षा के आयोजन की प्रक्रिया में बदलाव

सीटीईटी परीक्षा का आयोजन ऑफलाइन तरीके से करवाया जाता है जिसके लिए उम्मीदवारों को ओएमआर शीट पर उत्तर भरने का ऑप्शन दिया जाता है एवं अब परीक्षा कंप्यूटर आधार टेस्ट यानी सीबीटी के माध्यम से आयोजित की जाती हैं ऑनलाइन परीक्षा के परिणाम प्रक्रिया तेज और अधिक कुशल होने के कारण दक्षता और गति में बदलाव किया गया है एवं सीबीटी मोड में गड़बड़ी की संभावना कम और मूल्यांकन अधिक निष्पक्ष होता है जिससे पारदर्शिता स्पष्ट होती है कागज का उपयोग कम होने से पर्यावरण संरक्षण को मदद मिलेगी।

2. पात्रता मापदंडों में संभावित बदलाव

केंद्रीय शिक्षक पात्रता परीक्षा के मापदंडों में भी समय-समय पर नए बदलाव किए जाते हैं जो एनसीटीई के नए दिशा निर्देशों और शिक्षा नीतियों के अनुरूप बदलाव किए गए हैं।

  • शैक्षणिक योग्यता प्राथमिक और उच्च प्राथमिक स्तर के शिक्षकों के लिए आवश्यक न्यूनतम शैक्षणिक योग्यता में बदलाव हो सकता है स्नातक स्तर पर अंकों का प्रतिशत या विशिष्ट विषय का अध्ययन अनिवार्य किया जा सकता है।
  • B.Ed d.ed शिक्षक प्रशिक्षण पाठ्यक्रमों की अनिवार्यता और उसकी समीक्षता नियमों में बदलाव होना संभव है कुछ राज्यों में विशिष्ट प्रशिक्षण पाठ्यक्रमों को प्राथमिकता दी जाएगी।
  • एवं सीटीईटी के लिए ऊपरी आयु सीमा से संबंधित कोई प्रावधान नहीं रखा गया है।

3. परीक्षा पैटर्न और पाठ्यक्रम में बदलाव

CTET Exam के पैटर्न और पाठ्यक्रम में भी बदलाव किया जा सकता है शिक्षा के क्षेत्र में नवीनतम विकास और शिक्षण पद्धतियों को ध्यान में रखते हुए कुछ संभावित बदलाव किए जा सकते हैं।

प्रश्नों के प्रकार में बदलाव हो सकता है तथा तथ्यात्मक प्रश्नों के साथ-साथ एवं अवधारणात्मक समझ, आलोचनात्मक आलोचनात्मक और समस्या-समाधान कौशल पर आधारित प्रश्नों की संख्या बढ़ाई जा सकती है।

विभिन्न विषय के वेज में बदलाव किया जाएगा शिक्षा शास्त्र खंड का महत्व बढ़ सकता है क्योंकि यह प्रभावी शिक्षण विधियां पर केंद्रित होता है।

केंद्रीय शिक्षा पात्रता परीक्षा में नकारात्मक अंकन नहीं होता है लेकिन भविष्य में इसे लागू किए जाने की संभावना है जिससे उम्मीदवारों को केवल ज्ञात प्रश्नों का ही उत्तर देने के लिए प्रोत्साहित किया जाएगा।

राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 के अनुरोध पाठ्यक्रम में बदलाव किया जाए सकता है जिससे बाल केंद्रित शिक्षा समावेशी शिक्षा और अनुभावनात्मक शिक्षा पर अधिक जोर दिया जा सकता है।

4. प्रमाण पत्र की वैधता में बदलाव

केंद्रीय शिक्षक पात्रता परीक्षा के प्रमाण पत्र की वैधता पहले प्रमाण पत्र जारी होने की तिथि से 7 वर्षों के लिए होता था लेकिन एनसीटीई एवं सीटीईटी प्रमाण पत्र आजीवन कर दिया गया है एवं उम्मीदवारों को लिए यह सबसे बड़ी राहत है।

CTET Exam मुख्य बदलाव

केंद्रीय शिक्षक पात्रता परीक्षा के लिए अब परीक्षा तीन स्टेज के अंदर होगी देशभर में योग्य विषय विशेषज्ञ शिक्षकों की भर्ती के लिए यह बदलाव बहुत ही जरूरी है क्योंकि कक्षा 1 से 12 तक के लिए तीन अलग-अलग स्तर पर परीक्षाएं आयोजित करवाई जाती है यानी कक्षा 1 से 5 के लिए पेपर 1, कक्षा 6 से 8 के लिए पेपर दो एवं कक्षा 9 से 12 के लिए पेपर 3 होगा।

Leave a Comment